इश्क मे तेरे सताने को तुली है , दुनिया !
मुझपे इल्जाम लगाने को तुली है दुनिया !!
करके रुसवा मुझे तेरी मोहब्बत मे !
यु तमासा ही बनाने को तुली है दुनिया !!
अब कंहा जाऊ नगर छोड़ के बतला तेरा !
आज तूफान उठाने को तुली है दुनिया !!
मैंने कुछ भी न ज़माने का बिगाड़ा लेकिन !
खुने नाहक ही बहाने को तुली है दुनिया !!
ले चलू और कंही दिल मे छिपाकर तुमको !
इस जगह तीर चलाने को तुली है दुनिया !!
क्या करू इश्क मे तू बतादे मुझको !
मनु को मिटाने मे तुली है दुनिया !!
आपने जितना अच्छा लिखा है, फ़ोटो उससे भी शानदार लगाया है,
ReplyDeletesandip ji sukariya
ReplyDeleteबहुत सुंदर भाव..... यही होती है दुनिया
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